पहले मनुष्य को रोशनी मिले, बुरी बात उसे बुरी लगे। फिर उसको देव तेज मिले और उस बुरी बात के प्रति उसमें यथेष्ठ उच्च घृणा पैदा हो। तब कहीं उस बुराई से निकलने के योग्य होगा। यदि यह विधि पूरी न हो, तो उसके धर्म का रास्ता बन्द है।
भगवान देवात्मा
सबका शुभ हो ।
सबका शुभ हो ।